UP News : उत्तर प्रदेश से एक बड़ी खबर आई है। उत्तर प्रदेश की बड़ी खबर यह है कि उत्तर…
उत्तर प्रदेश से एक बड़ी खबर आई है। उत्तर प्रदेश की बड़ी खबर यह है कि उत्तर प्रदेश में तैनात 15 PCS अधिकारी जल्द ही IAS अफसर बन जाएंगे। उत्तर प्रदेश के 15 PCS अफसरों को IAS अधिकारी बनने के लिए 48 नामों की सूची तैयार की गई है। उत्तर प्रदेश सरकार ने 48 नाम वाली सूची UPSC को भेजी है।
उत्तर प्रदेश के 15 PCS अफसर की आएगी मौज
आपको बता दें कि, कम से कम 10 वर्ष तक PCS की नौकरी करने के बाद IAS के रूप में पदोन्नति की योग्यता प्राप्त हो जाती है। शर्त यह है कि पदोन्नति समिति की बैठक होने के वक्त PCS अधिकारी की उम्र 54 वर्ष से कम होनी चाहिए। इसी योग्यता के आधार पर उत्तर प्रदेश सरकार ने प्रदेश के 48 PCS अधिकारियों की लिस्ट UPSC को भेजी है। इन्हीं 48 PCS अधिकारियों में से 15 अधिकारी IAS अफसर बन जाएंगे। सबको पता है कि IAS के पद को भारत की सबसे बड़ी तथा प्रतिष्ठित सरकारी सेवा माना जाता है। यही कारण है कि जल्द ही उत्तर प्रदेश के 15 PCS अधिकारियों की मौज आने वाली है।
लखनऊ में ही होगी PCS अधिकारियों के लिए DPC की बैठक
उत्तर प्रदेश सरकार के सूत्रों ने बताया कि PCS अधिकारियों को IAS में प्रमोट करने के लिए विभागीय पदोन्नति समिति यानी कि DPC की बैठक उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में ही आयोजित की जाएगी। वर्ष 2023 में भी DPC की बैठक लखनऊ में ही आयोजित की गई थी। केंद्र सरकार ने वर्ष 2023 के लिए सलेक्ट लिस्ट में 10 रिक्तियां दी हैं। इसके अलावा पांच पद पहले के खाली हैं। इसलिए IAS के कुल 15 पदों के लिए पदोन्नतियां दी जाएंगी। नियुक्ति विभाग ने इन 15 पदों के लिए एक-एक नाम पर विचार करते हुए प्रस्ताव तैयार किया है। इस प्रस्ताव में उन नामों को भी भेजा गया है, जिनके नाम पर पिछले वर्ष भी DPC में विचार किया गया था, लेकिन सहमति नहीं बन पाई थी। इनमें कुछ नाम ऐसे भी हैं जिनके खिलाफ किसी तरह की जांच चल रही थी।
उत्तर प्रदेश के इन 15 अफसरों की चमक सकती है किस्मत UP News
उत्तर प्रदेश सरकार के अंतरंग सूत्रों ने हमें बताया है कि, इस बार DPC में वर्ष 2002 बैच की PCS अफसर अंजू कटियार, वर्ष 2004 के अमर पाल सिंह, वर्ष 2006 व वर्ष 2008 के PCS अधिकारी आलोक कुमार वर्मा, बलराम सिंह, भानु प्रताप यादव, दयानंद प्रसाद, देवी प्रसाद पाल, गुलाब चंद्र व जयनाथ यादव के नाम पर विचार किया जाएगा। इसके साथ अंजू लता, राजेश कुमार सिंह, राम सुरेश वर्मा, रणविजय सिंह, विधान जायसवाल, विनोद कुमार गौर व शैलेंद्र कुमार भाटिया के नाम पर विचार किया जाएगा। माना जा रहा है कि वरिष्ठता के आधार पर वरीयता क्रम से ऊपर वालों के नामों पर विचार-विमर्श के बाद सहमति बन सकती है। हालांकि, जिनके खिलाफ जांच चल रही है, उनके नाम बाहर किए जाने की पूरी संभावना है।
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